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    आईसीटी – ई-क्लासरूम एवं प्रयोगशालाएँ

    नए तकनीकी उपकरण न केवल शैक्षणिक केंद्रों में नवाचार लाते हैं, बल्कि सूचना के हस्तांतरण में भी तेजी लाते हैं, छात्रों की रुचि बढ़ाते हैं, और प्रक्रियाओं को स्वचालित करने की अनुमति देते हैं, अन्य पहलुओं के अलावा जिन पर ध्यान दिया जाना चाहिए।
    यह एकाग्रता और समझ में सुधार करता है। डिजिटल और इंटरैक्टिव टूल के माध्यम से की जाने वाली गतिविधियाँ छात्रों की एकाग्रता को बढ़ाती हैं और इसलिए, वे अवधारणाओं को अधिक तेज़ी से आत्मसात करते हैं, जिससे सीखने में वृद्धि होती है।
    यह छात्रों के लचीलेपन और स्वायत्तता को बढ़ावा देता है। नई प्रौद्योगिकियाँ समय और संसाधनों का अनुकूलन करके स्वायत्त सीखने को बढ़ावा देती हैं।
    यह आलोचनात्मक सोच को प्रोत्साहित करती है। सूचना के विविध स्रोत जो प्रौद्योगिकियाँ प्रदान करती हैं, छात्रों को नए दृष्टिकोण प्रदान करती हैं। इस तरह, सूचना और संचार प्रौद्योगिकियाँ मुखर क्षमता को भी प्रोत्साहित करती हैं।
    यह प्रेरणा को उत्तेजित करती है। कक्षा में प्रौद्योगिकियों को शामिल करने से छात्रों की प्रेरणा में सुधार होता है, यह नई अवधारणाओं के अध्ययन को प्रोत्साहित करने की एक त्वरित और व्यावहारिक तकनीक है।
    यह नई शिक्षण विधियों को शामिल करता है। शिक्षा में आईसीटी का एक और लाभ यह है कि शिक्षण पेशेवर नई शिक्षण पद्धतियों को शामिल कर सकते हैं, जिससे शैक्षणिक परिणामों में सुधार होता है और कक्षाओं में गतिशीलता को बढ़ावा मिलता है।
    पीएम श्री केंद्रीय विद्यालय हिम्मतनगर आईसीटी सुविधा से अच्छी तरह सुसज्जित है जो प्रदान की जाने वाली शिक्षा की गुणवत्ता को बढ़ाता है। इससे न केवल पाठ रोचक बनते हैं बल्कि विद्यार्थी स्वयं की भागीदारी वाली गतिविधियों में भी संलग्न रहते हैं। उनकी जिज्ञासा वृत्ति रचनात्मक और तार्किक सोच के नए क्षेत्र खोलती है। वे विषय का व्यावहारिक ज्ञान प्राप्त करते हैं और अपनी बौद्धिक क्षमता को समृद्ध करते हैं। प्राथमिक और माध्यमिक अनुभाग के लिए एक कंप्यूटर लैब हैं।